Ekadashi December 2024: दिसंबर 2024 में एकादशी व्रत: तिथियां, महत्व और पूजन विधि
दिसंबर 2024 में एकादशी व्रत: तिथियां, महत्व और पूजन विधि, हिंदू धर्म में एकादशी व्रत का अत्यंत महत्व है। यह व्रत हर महीने दो बार आता है – शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष की एकादशी को। दिसंबर 2024 में भी यह व्रत विशेष रूप से महत्वपूर्ण होगा। आइए जानते हैं दिसंबर 2024 में आने वाली एकादशी तिथियों के बारे में और व्रत की महिमा तथा पूजन विधि के बारे में विस्तार से।
🌙 दिसंबर 2024 की एकादशी तिथियां दिसंबर 2024 में निम्नलिखित एकादशी तिथियां होंगी:
एकादशी का नाम | तिथि | दिन |
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मोक्षदा एकादशी | 2 दिसंबर 2024 | सोमवार |
सफला एकादशी | 16 दिसंबर 2024 | सोमवार |
🪔 मोक्षदा एकादशी का महत्व मोक्षदा एकादशी का व्रत करने से व्यक्ति को मोक्ष की प्राप्ति होती है। इस दिन विशेष पूजा-अर्चना करने से पापों का नाश होता है और भगवान विष्णु का आशीर्वाद प्राप्त होता है। यह एकादशी श्रीकृष्ण द्वारा अर्जुन को भगवद गीता का उपदेश देने के कारण भी महत्वपूर्ण मानी जाती है।
📜 मोक्षदा एकादशी की पूजन विधि
- प्रातः काल स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करें।
- भगवान विष्णु की प्रतिमा या तस्वीर के सामने दीप प्रज्वलित करें।
- विष्णु सहस्रनाम का पाठ करें और भगवद गीता का पाठ करें।
- भगवान विष्णु को तुलसी दल अर्पित करें और भोग लगाएं।
- रात्रि जागरण करें और भजन-कीर्तन में समय व्यतीत करें।
- अगले दिन द्वादशी पर ब्राह्मण भोजन कराएं और दान-दक्षिणा दें।
🌟 सफला एकादशी का महत्व सफला एकादशी का व्रत करने से समृद्धि और सफलता प्राप्त होती है। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा करने से जीवन में आने वाली कठिनाइयों का नाश होता है और व्यक्ति को सभी कार्यों में सफलता मिलती है।
📜 सफला एकादशी की पूजन विधि
- प्रातः स्नान कर स्वच्छ वस्त्र पहनें और व्रत का संकल्प लें।
- भगवान विष्णु की पूजा करें और फल-फूल अर्पित करें।
- विष्णु सहस्रनाम और विष्णु स्तोत्र का पाठ करें।
- दिन भर निराहार रहें और भगवान के भजन-कीर्तन में समय बिताएं।
- रात्रि जागरण करें और अगले दिन व्रत का पारण करें।
🕉️ एकादशी व्रत के लाभ
जीवन में समृद्धि और सफलता प्राप्त होती है।
पापों का नाश होता है।
मोक्ष की प्राप्ति होती है।
भगवान विष्णु का आशीर्वाद मिलता है।