हरियाणा सरकार का बड़ा कदम: भ्रष्टाचार पर सख्त प्लान तैयार
हरियाणा से एक बड़ी खबर सामने आई है। प्रदेश सरकार भ्रष्टाचार के खिलाफ कठोर कदम उठाने की योजना बना रही है। अब हर विभाग में भ्रष्टाचारियों पर कड़ी कार्रवाई होगी। कोरोना काल में हुए रजिस्ट्री घोटाले की फाइलें फिर से खोली जाएंगी, और दोषी अधिकारियों के खिलाफ सख्त जांच प्रक्रिया शुरू हो चुकी है।
कोरोना काल का रजिस्ट्री घोटाला 🔍
कोरोना काल के दौरान हुए रजिस्ट्री घोटाले की जांच के लिए बनाई गई विशेष जांच समिति ने 232 राजस्व अधिकारियों को दोषी ठहराया था। इनमें तहसीलदार, नायब तहसीलदार, कानूनगो, लेखा परीक्षक (ऑडिटर्स), रजिस्ट्री क्लर्क, और पटवारी शामिल हैं।
राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग इन अधिकारियों की सूची का फिर से विश्लेषण कर रहा है। साथ ही यह भी देखा जा रहा है कि कहीं ये अधिकारी अन्य लंबित शिकायतों या भ्रष्टाचार के मामलों में तो शामिल नहीं हैं।
370 पटवारियों की लीक लिस्ट 📋
370 भ्रष्ट पटवारियों की लीक हुई सूची का मामला भी सुर्खियों में है। CID ने जिलों से मिले इनपुट्स की जांच शुरू कर दी है। लीक हुई सूची को लेकर सरकार ने साफ कर दिया है कि इसे वापस नहीं लिया जाएगा।
जिलों के डीसी से इस मामले में रिपोर्ट मांगी गई है, और उम्मीद है कि अगले सप्ताह तक यह रिपोर्ट सरकार को सौंप दी जाएगी।
इंटरनेट मीडिया पर नजर 👁️
सरकार की खुफिया एजेंसियां सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर भी कड़ी निगरानी रख रही हैं। कुछ ग्रुप्स को इस लीक से संबंधित चिह्नित किया गया है।
पटवारियों ने इस लिस्ट को लेकर आपत्ति जताई है और कहा कि इससे उनकी छवि को नुकसान पहुंचा है। उन्होंने इसे बदनाम करने की साजिश बताया है।
सरकार की रणनीति और अगला कदम 🛠️
सरकार की ओर से दागी अधिकारियों पर कार्रवाई का सिलसिला पटवारियों से शुरू हुआ था। अब नायब तहसीलदार, तहसीलदार, और कानूनगो पर भी शिकंजा कसने की योजना है। सरकार सीएम विंडो, लंबित शिकायतें, और भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो की रिपोर्ट्स का भी विश्लेषण कर रही है।
सरकार की चेतावनी 🚨
हरियाणा सरकार ने स्पष्ट कर दिया है कि भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाई जाएगी। जिन अधिकारियों के खिलाफ पुख्ता सबूत मिलेंगे, उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।